ब्लोगोत्सव-२०१० में प्रकाशित विज्ञान कथा : वेदों में वर्णित सोम की नई दावेदारी : ‘यार सा गुम्बा’ को आधार मानते हुए ब्लोगोत्सव की टीम ने डा. अरविन्द मिश्र को वर्ष के श्रेष्ठ विज्ञान कथा लेखक का खिताब देते हुए उन्हें सम्मानित करने का निर्णय लिया है . "जानिये अपने सितारों को " के अंतर्गत प्रस्तुत है उनसे पूछे गए कुछ व्यक्तिगत प्रश्नों के उत्तर-

(१) पूरा नाम :
अरविन्द मिश्र
(२) पिता/माता का नाम/जन्म स्थान :
डॉ.स्वर्गीय राजेन्द्र मिश्र एवं हीरावती देवी ,जौनपुर
(३) वर्तमान पता :


१६,काटन मिल कालोनी ,चौकाघाट ,वाराणसी ,उ . प्र .
(३) ई मेल का पता :
drarvind3@gmail.com


(३) टेलीफोन/मोबाईल न.
09415300706
(४) आपके प्रमुख व्यक्तिगत ब्लॉग :
साईंस फिक्शन इन इंडिया ,साईब्लाग ,क्वचिदन्यतोअपि

(५) अपने ब्लॉग के अतिरिक्त अन्य ब्लॉग पर गतिविधियों का विवरण :साईंस ब्लागर्स असोशिएशन ,तस्लीम ,सर्प संसार पर भी दृष्टव्य

(६) अपने ब्लॉग के अतिरिक्त आपको कौन कौन सा ब्लॉग पसंद है :
कई ब्लॉगर और ब्लॉग पसंद हैं,नामोल्लेख न करके ही मैं खुद के लिए बेहतर न्याय कर सकूंगा !

(७) ब्लॉग पर कौन सा विषय आपको ज्यादा आकर्षित करता है?
सामाजिक और विज्ञान से जुड़े मुद्दे
(८) आपने ब्लॉग कब लिखना शुरू किया ? २००७
(९) यह खिताब पाकर आपको कैसा महसूस हो रहा है ?


विनम्रता भरी असहज अनुभूति -आह्लादित और प्रकम्पित ...

(१०) क्या ब्लोगिंग से आपके अन्य आवश्यक कार्यों में अवरोध उत्पन्न नहीं होता ?
आत्मतुष्टि की आवश्यकता सूची में सम्प्रति ब्लागिंग सर्वोपरि है ...
(११) यदि होता तो उसे कैसे प्रबंध करते ?
होता ही कहा हैं ?

(11) ब्लोगोत्सव जैसे सार्वजनिक उत्सव में शामिल होकर आपको कैसा लगा ?
यह एक अविस्मरणीय अनुभव रहा ....बहुत ज्ञानार्जन और मनोरंजन हुआ

(१२) आपकी नज़रों में ब्लोगोत्सव की क्या विशेषताएं रही ?

यह एक नवोन्मेषी चिट्ठा नवाचार था -एक अद्भुत सूझ जो अपनी अवधारणा के मुताबिक़ ही साकार होती गयी ...

(१३) ब्लोगोत्सव में वह कौन सी कमी थी जो आपको हमेशा खटकती रही ?मुझे तो कोई कमी नहीं दिखी ...ऐसे व्यापक फलक के प्रयासों में में कुछ त्रुटियाँ भी रह जाना सहज स्वाभाविक है मगर मेरी नजर में तो यह प्रयास पूर्णतया त्रुटिहीन रहा ...
(१४) ब्लोगोत्सव में शामिल किन रचनाकारों ने आपको ज्यादा आकर्षित किया ?ऐसे निर्णय मेरे लिए सदैव मुश्किल भरे होते हैं ..मुझे लगता है कि विषयवार विविधता के लिहाज से सभी प्रस्तुतियां बेजोड़ रहीं ...
(१५) किन रचनाकारों की रचनाएँ आपको पसंद नहीं आई ? किसी की भी रचना ऐसी नहीं थी जो पसंद न आई हो ...

(१६) क्या इस प्रकार का आयोजन प्रतिवर्ष आयोजित किया जाना चाहिए ? नेकी और पूछ पूछ ?

(१७) आपको क्या ऐसा महसूस होता है कि हिंदी ब्लोगिंग में खेमेवाजी बढ़ रही है ?

बढ रही थी अब समाप्तोंन्मुख है !

(१८) यदि हाँ तो क्या यह हिंदी चिट्ठाकारी के लिए अमंगलकारी नहीं है ?
खेमेबाजी को स्थायित्व प्राप्त नहीं होता ...

(१९) आप कुछ अपने व्यक्तिगत जीवन के बारे में बताएं :

क्या कहूं ? कुछ कही कुछ अनकही -ऐसे ही बीत रहा है जीवन -हाँ मैंने जिन पर बहुत भरोसा किया उन्ही से दंश मिले हैं .

(२०) चिट्ठाकारी से संवंधित क्या कोई ऐसा संस्मरण है जिसे आप इस अवसर पर सार्वजनिक करना चाहते हैं ?

पत्थर के सनम तुझे मैंने मुहब्बत का खुदा जाना ..बड़ी भूल हुई ....ये क्या समझा ये क्या जाना .....पत्थर के सनम ......

(२१) अपनी कोई पसंदीदा रचना की कुछ पंक्तियाँ सुनाएँ यदि आप चाहें तो यहाँ ऑडियो/विडिओ का प्रयोग भी कर सकते हैं

लीजिये आपको अपनी आवाज़ में एक कविता सुनाता हूँ -

अंदर बाहर बड़ी घुटन है
ये पल जीना बहुत कठिन है
कांटे तो कांटे हैं आखिर
फूलों में भी बड़ी चुभन है
अंदर बाहर ....
अंगारों में राख जमी है
फिर भी इनमें बड़ी तपन है
अंदर बाहर ....
इस युग की उपलब्धि यही है
हर चेहरा टूटा दर्पण है
बाहों में भरते हो लेकिन
अंदर तो बेगानापन है
अंदर बाहर ....
रिश्ते नातों से तो अच्छा
मेरे घर का सूनापन है ..
अंदर बाहर ....
(मैं कुछ भूल रहा हूँ और यह गीत किसका है यह तो पूरा ही भूल गया हूँ ,कुमार अम्बुज या कोई और ?? ..कोई बताएगा क्या ?..मगर मेरे प्रिय गीतों में से एक है ...)






बहुत बहुत धन्यवाद .....इस अवसर पर ऋग्वेद की दो पंक्तियां आपको समर्पित है कि - ‘‘आयने ते परायणे दुर्वा रोहन्तु पुष्पिणी:। हृदाश्च पुण्डरीकाणि समुद्रस्य गृहा इमें ।।’’अर्थात आपके मार्ग प्रशस्त हों, उस पर पुष्प हों, नये कोमल दूब हों, आपके उद्यम, आपके प्रयास सफल हों, सुखदायी हों और आपके जीवन सरोवर में मन को प्रफुल्लित करने वाले कमल खिले।



प्रस्तुति: रवीन्द्र प्रभात

20 comments:

रश्मि प्रभा... ने कहा… 13 जुलाई 2010 को 5:46 pm बजे

बधाई.........कविता की पंक्तियाँ निःसंदेह प्रभावशाली हैं

mala ने कहा… 13 जुलाई 2010 को 7:07 pm बजे

बधाई.........

पूर्णिमा ने कहा… 13 जुलाई 2010 को 7:09 pm बजे

बहुत बहुत बधाई

Udan Tashtari ने कहा… 13 जुलाई 2010 को 7:32 pm बजे

अरविन्द जी को बहुत बहुत बधाई..उनकी कविता की पसंद उच्चे श्रेणी की है. वैसे यह मुझे पहले से पता था क्यूँकि वो मेरी कवितायें पसंद करते हैं. :)

M VERMA ने कहा… 13 जुलाई 2010 को 8:31 pm बजे

बहुत बहुत बधाई

Shastri JC Philip ने कहा… 14 जुलाई 2010 को 12:08 am बजे

बहुत सही चुनाव. इस चुनाव के लिये ब्लोगोत्सव का आभार!

डा अरविंद को मेरी बधाई!


सस्नेह -- शास्त्री

हिन्दी ही हिन्दुस्तान को एक सूत्र में पिरो सकती है
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Smart Indian ने कहा… 14 जुलाई 2010 को 6:46 am बजे

अरविन्द जी को हार्दिक बधाई!

Arvind Mishra ने कहा… 14 जुलाई 2010 को 6:58 am बजे

सभी भद्रजनों का आभार !

Alpana Verma ने कहा… 14 जुलाई 2010 को 11:23 am बजे

डा अरविंद जी को बहुत बहुत बधाई .
और ब्लोगोत्सव का आभार!

Bhavesh (भावेश ) ने कहा… 14 जुलाई 2010 को 12:27 pm बजे

अरविन्द जी को बहुत बहुत बधाई....

kshama ने कहा… 14 जुलाई 2010 को 4:36 pm बजे

Bahut,bahut mubarak baad qubool karen!

Kajal Kumar's Cartoons काजल कुमार के कार्टून ने कहा… 15 जुलाई 2010 को 1:12 pm बजे

अरविन्द जी को ढेरों बधाइयां.

shikha varshney ने कहा… 15 जुलाई 2010 को 6:58 pm बजे

अरविन्द जी को बहुत बहुत बधाई.

rashmi ravija ने कहा… 15 जुलाई 2010 को 7:16 pm बजे

बहुत बहुत बधाई....अरविन्द जी को

Khushdeep Sehgal ने कहा… 17 जुलाई 2010 को 9:25 am बजे

अरविंद जी हार्दिक बधाई...

रवींद्र जी और टीम ब्लॉगोत्सव २०१० का आभार...

जय हिंद...

Khushdeep Sehgal ने कहा… 17 जुलाई 2010 को 9:25 am बजे
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